दोस्तो की महफ़िल होगी
जाम फिर से टकराएंगे
थोड़ा सा इंतजार करो
वो दिन लौट के आयेंगे
हर रोज जिम में जाकर
फिर से सेहत बनाएंगे
ख़ूब खेलेंगे स्टेडियम में
मिल कर दौड़ लगाएंगे
आईपीएल मैच देखेंगे
जम कर शोर मचाएगे
गेंद जाएगी जब बाहर
आनन्द से भर जाएंगे
परिवार संग पहाड़ो की
सैर पर हम सब जाएंगे
घूमेंगे वादियों में फिर
जीवन के लुत्फ़ उठाएगें
शादी समारोह में भी हम
मिल कर धूम मचाएंगे
खुदभी नाचेंगे मस्ती में
औरो को भी नचाएंगे
बाजारों में रौनक लौटेगी
चहल पहल फिर पाएंगे
रेहड़ी पर गोलगप्पे और
ढाबे पर खाना खायेंगे
ना सैनिटाइजर का जंझट
ना ही हम मास्क लगाएंगे
कोई डिस्टेंसिन्ग ना होंगी
सबको हम गले लगाएगे
लॉकडाउन खत्म होगा
कोरोना पर विजय पाएंगे
पहले की तरह फिर से
हम अपने दिन बिताएंगे
उम्मीद पे दुनिया कायम
यही सुना है बुजुर्गों से
थोड़ा सा इंतजार करो
वो दिन लौट के आयेंगे
-डॉ मुकेश अग्रवाल